Chronic stress: सावधान क्रोनिक स्ट्रैस इन 5 जानलेवा बीमारियों के खतरे को बढ़ाता है

तनाव जीवन का एक स्वाभाविक हिस्सा है जी किसी न किसी तरह हमारे जीवन से जुड़ा हुआ है। तनाव हमें चुनौतियों से निपटने, समस्याओं को दूर करने और अपने लक्ष्यों को प्राप्त करने में सहायता करता है। हालाँकि, जब तनाव बहुत जादा, बार-बार या बहुत लंबे समय तक रहता है, तो इसका हमारे शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य पर काफी बुरा प्रभाव पड़ता है।

क्रोनिक स्ट्रैस तनाव की एक स्थिति है जो व्यक्ति में कुछ हफ्तों से लेकर महीनों या उससे अधिक समय तक बनी रहती है। क्रोनिक स्ट्रैस होने के बहुत से कारण हो सकते है, जैसे काम का दबाव (work pressure), वित्तीय कठिनाइयाँ (financial problem), रिश्ते की समस्याएँ (relationship problems), स्वास्थ्य संबंधी समस्या (health issues), दर्दनाक घटनाएँ (traumatic events), या पर्यावरणीय कारक। क्रोनिक स्ट्रैस हमारे शरीर की लगभग हर एक प्रणाली को प्रभावित कर सकता है जो हमारे स्वास्थय व सामान्य कामकाज को बुरी तरह से प्रभावित कर सकता है।

क्रोनिक स्ट्रैस chronic stress

क्रोनिक स्ट्रैस के लक्षण (symptoms of chronic stress)

  • चिड़चिड़ापन, चिंता, अवसाद या मूड में बदलाव
  • थकान, नींद न आना, या ध्यान केंद्रित करने में कठिनाई
  • सिरदर्द, मांसपेशियों में तनाव या दर्द
  • पाचन संबंधी समस्याएं, भूख में बदलाव, या वजन बढ़ना या कम होना
  • कम आत्मसम्मान, असहाय महसूस करना, या गतिविधियों में रुचि खोना
  • यौन इच्छा या प्रदर्शन में कमी
  • बार-बार संक्रमण या बीमारियाँ होना

क्रोनिक स्ट्रैस के कारण होने वाली बीमारियाँ (Diseases caused by chronic stress)

1 हृदय रोग (heart disease)

हृदय रोग (heart disease)

क्रोनिक स्ट्रैस से आपके हृदय रोग के जोखिम का खतरा काफी जादा बढ़ जाता है। क्रोनिक स्ट्रैस शरीर में ब्लड प्रैशर को बढ़ा सकता है, हृदय गति (heart rate) बढ़ा सकता है और धमनियों (arteries) को नुकसान पहुंचा सकता है। क्रोनिक स्ट्रैस से शरीर में सूजन, कोलेस्ट्रॉल बढ़ना और रक्त के थक्के जमने जैसे गंभीर समस्याओं को बढ़ा सकता है, यह सभी कारण दिल का दौरा, स्ट्रोक और अन्य हृदय संबंधी समस्याओं के खतरे को बढ़ा सकते हैं।

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2 मधुमेह (diabetes)

क्रोनिक स्ट्रैस मधुमेह की समस्या को बढ़ा सकता है क्योंकि यह ब्लड शुगर के स्तर और इंसुलिन संवेदनशीलता को प्रभावित कर सकता है। इससे व्यक्ति में अस्वस्थ या गलत आदतें भी पैदा हो सकती हैं, जैसे ज़्यादा खाना, धूम्रपान करना या शराब पीना और यही आदते व्यक्ति में टाइप 2 मधुमेह (type 2 diabetes) के खतरे को भी बढ़ा सकता हैं।

3 मानसिक समस्या (mental problem)

मानसिक समस्या (mental problem)

लंबे समय तक क्रोनिक स्ट्रैस का होना मानसिक रोग को बढ़ावा दे सकता है जिससे दिमाग से जुड़ी कई समस्या पैदा हो सकती है। जादा तनाव लेना आपको मानसिक रोगी बना सकता है जिससे याददाश्त जाने की समस्या, भूलने की समस्या, गुस्सा, चिड़चिड़ापन, निर्णय लेने की शक्ति खो देना या निर्णय लेने में कठिनाई जैसे समस्या पैदा हो सकती है। जादा लंबे समय तक क्रोनिक स्ट्रैस का होना आपको पागल पन का शिकार भी बना सकता है।

4 कैंसर (cancer)

लंबे समय तक क्रोनिक स्ट्रैस का होना कैंसर की समस्या को बढ़ा सकता है। क्रोनिक स्ट्रैस के कारण शरीर में कई सारे बदलाओ होते है जो शरीर में कैंसर को बढ़ाने में मदद कर सकते है। क्रोनिक स्ट्रैस के कारण शरीर में कोर्टिसोल और दूसरे हार्मोन्स में परिवर्तन हो सकता है जो कैंसर के खतरे को काफी हद तक बढ़ा सकते है।

5 मोटापा (obesity)

मोटापा obesity

लगातार क्रोनिक स्ट्रैस से व्यक्ति मोटापे का शिकार हो सकता है। क्रोनिक स्ट्रैस कोर्टिसोल के उत्पादन को बढ़ा सकता है, यह एक ऐसा हार्मोन जो भूख और चयापचय (metabolism) को नियंत्रित करता है। कोर्टिसोल का उच्च स्तर शुगर और वसायुक्त खाद्य पदार्थों (fatty food) के लिए भूख और लालसा को बढ़ा सकता है। यह चयापचय (मेटाबोलिस्म) को धीमा कर सकता है और शरीर में फैट को बढ़ा सकता है।यही कारक वजन बढ़ने और मोटापे का कारण बन सकते हैं।

6 प्रतिरक्षा प्रणाली समस्या (Immune system disorders)

लगातार तनाव जिससे क्रोनिक स्ट्रैस कहते है आपकी प्रतिरक्षा प्रणाली को कमजोर करता है और ये आपको किसी भी संक्रमण या बीमारियों से लड़ने में कम सक्षम बना सकता है। जिससे कई बीमारियाँ होने का खतरा बढ़ सकता है और लंबे समय तक किसी बीमारी से न उभरना जानलेवा साबित हो सकता है। यह रुमेटीइड गठिया (rheumatoid arthritis), ल्यूपस (lupus) या मल्टीपल स्केलेरोसिस (multiple sclerosis) जैसे ऑटोइम्यून विकारों को भी ट्रिगर या खराब कर सकता हैऔर यही समस्या आगे चल कर जानलेवा हो सकती है।

7 त्वचा संबंधी समस्याएं (skin problems)

लगातार क्रोनिक स्ट्रैस त्वचा को प्रभावित कर सकता है और मुँहासे, एक्जिमा, सोरायसिस, पित्ती या बालों के झड़ने जैसी समस्याएं पैदा कर सकता है। जादा समय तक क्रोनिक स्ट्रैस का होना आपकी उम्र को जल्दी बढ़ा सकता है। इसके अलावा चेहरे पर झुरिया, रूखापन, चेहरे का बेजान दिखना जैसे समस्या पैदा हो सकती है।

8 श्वसन संबंधी समस्याएं (breathing problem)

क्रोनिक स्ट्रैस श्वसन प्रणाली को भी प्रभावित कर सकता है इससे संस संबंधी समस्या और अस्थमा, ब्रोंकाइटिस या निमोनिया जैसी समस्याएं पैदा कर सकता है।

9 गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल विकार (Gastrointestinal disorders)

Gastrointestinal disorders

क्रोनिक स्ट्रैस पाचन तंत्र को प्रभावित कर सकता है स्ट्रैस से पाचन तंत्र पर काफी बुरा प्रभाव पड़ता है जिससे मतली, उल्टी, दस्त, कब्ज, अल्सर, चिड़चिड़ा आंत्र सिंड्रोम (आईबीएस), या सूजन आंत्र रोग (आईबीडी) जैसी समस्याएं पैदा हो सकता है।

क्रोनिक स्ट्रैस से कैसे बचे

क्रोनिक स्ट्रैस आपके स्वास्थ्य और जीवन की गुणवत्ता पर नकारात्मक प्रभाव डाल सकता है। इसलिए, इससे निपटने और इसके प्रभावों को कम करने के लिए स्वस्थ तरीके ढूंढना महत्वपूर्ण है। कुछ प्रभावी तरीके जो आपको क्रोनिक स्ट्रैस को कम या खत्म करने में मदद कर सकती हैं। अपने तनाव के स्रोतों की पहचान करें और यदि संभव हो तो उन्हें खत्म करने या कम करने का प्रयास करें।

  • यथार्थवादी और प्राप्त करने योग्य लक्ष्य निर्धारित करें और अपने कार्यों को प्राथमिकता दें।
  • यदि आप अकेलापन या उदास महसूस करते हैं तो पेशेवर मदद लें।
  • अपनी भावनाओं और चिंताओं के बारे में किसी ऐसे व्यक्ति से बात करें जिस पर आपको भरोसा है।
  • गहरी सांस लेने, ध्यान, योग या ताई ची जैसी विश्राम तकनीकों का अभ्यास करें।
  • उन शारीरिक गतिविधियों में शामिल हों जिनका आप आनंद लेते हैं और जो आपके फिटनेस स्तर के अनुरूप हों।
  • संतुलित आहार लें जिसमें भरपूर मात्रा में फल, सब्जियां, साबुत अनाज, लीन प्रोटीन और स्वस्थ वसा शामिल हों।
  • कैफीन, शराब, निकोटीन और अन्य पदार्थों से बचें या सीमित करें जो आपके तनाव को बढ़ा सकते हैं।
  • अपनी ऊर्जा और मूड को रिचार्ज करने के लिए पर्याप्त नींद लें और आराम करें।
  • उन शौक और रुचियों के लिए समय निकालें जो आपको खुश और पूर्ण बनाते हैं।
  • जीवन के प्रति सकारात्मक दृष्टिकोण और दृष्टिकोण बनाए रखें।
  • पने परिवार, दोस्तों या सामुदायिक समूहों से सामाजिक समर्थन लें।

अधिक जानकारी के लिए – Stress free: तनाव से बचने के 15 असरदार उपाय और जाने इसके कारण और लक्षण

क्रोनिक स्ट्रैस एक गंभीर समस्या है जो आपके स्वास्थ्य को कई तरह से प्रभावित कर सकता है। हालाँकि, क्रोनिक स्ट्रैस के संकेतों और लक्षणों को पहचानकर और इसे प्रभावी ढंग से कम या खत्म करने के लिए कदम उठाएं। आप अपनी भलाई में सुधार कर सकते हैं और पुरानी तनाव-संबंधी बीमारियों के जोखिम को रोक या कम कर सकते हैं।

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